आंग्ल नववर्ष के अवसर पर मध्यप्रदेश के प्रमुख मंदिरों में श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा। श्रद्धालुओं ने सर्दी और कोहरे की परवाह किए बिना धार्मिक स्थानों पर पहुंचकर पूजा-अर्चना की। विशेष रूप से उज्जैन स्थित श्री महाकालेश्वर मंदिर और खंडवा स्थित श्री ओंकारेश्वर मंदिर में भारी संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचे। इन प्रमुख मंदिरों के साथ-साथ राज्य के अन्य धार्मिक स्थलों पर भी नए साल के पहले दिन श्रद्धालुओं की भीड़ देखने को मिली।
उज्जैन में श्री महाकालेश्वर मंदिर में श्रद्धालुओं की भीड़
नववर्ष: उज्जैन स्थित श्री महाकालेश्वर मंदिर, जो भगवान शिव के बारह ज्योतिर्लिंगों में एक है, ने नववर्ष के पहले दिन एक अद्भुत दृश्य प्रस्तुत किया। मंदिर में सर्दी और कोहरे के बावजूद श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा। कलेक्टर नीरज सिंह ने इस अवसर पर बताया कि नए साल के पहले दिन मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी है, जिसे देखते हुए प्रशासन ने विशेष व्यवस्थाएं की हैं।
सुबह के समय विशेष भस्मार्ती का आयोजन किया गया, जिसमें श्रद्धालुओं ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। इस भस्मार्ती के दौरान चलित भस्मार्ती चलाई गई, जिससे और भी अधिक संख्या में लोग दर्शन करने पहुंचे। पार्किंग और अन्य मूलभूत सुविधाओं के लिए प्रशासन ने खास इंतजाम किए, ताकि श्रद्धालुओं को किसी भी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े।
खंडवा स्थित श्री ओंकारेश्वर मंदिर में भी श्रद्धालुओं की भारी भीड़
नववर्ष: खंडवा जिले में स्थित श्री ओंकारेश्वर मंदिर, जो भगवान शिव के महत्वपूर्ण तीर्थ स्थल के रूप में प्रसिद्ध है, में भी नववर्ष के पहले दिन श्रद्धालुओं का तांता लगा। भीषण सर्दी और कोहरे के बावजूद श्रद्धालुओं ने श्री ओंकारेश्वर के दर्शन और नर्मदा स्नान के लिए बड़ी संख्या में मंदिर पहुंचे। इस दिन विशेष पूजा का आयोजन किया गया, और यहां भी श्रद्धालुओं के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गई थीं।
अन्य प्रमुख मंदिरों में भी श्रद्धालुओं की भीड़
मध्यप्रदेश के अन्य प्रमुख मंदिरों में भी नए साल के मौके पर भारी भीड़ देखने को मिली। निवाड़ी जिले के ओरछा, सतना जिले के चित्रकूट, और मैहर स्थित देवी माता मंदिर में भी श्रद्धालुओं ने पूजा-अर्चना की। इन मंदिरों में विशेष पूजा का आयोजन किया गया था और भीड़ को देखते हुए प्रशासन द्वारा सुरक्षा और सुविधाओं का खास ध्यान रखा गया।
चित्रकूट में जहां भगवान राम के मंदिर में श्रद्धालुओं ने दर्शन किए, वहीं मैहर देवी मंदिर में श्रद्धालुओं ने देवी मां के दर्शन कर सुख-समृद्धि की कामना की।
प्रशासन की विशेष व्यवस्थाएं
मध्यप्रदेश के विभिन्न मंदिरों में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए प्रशासन ने विशेष व्यवस्थाएं की हैं। कलेक्टर नीरज सिंह के अनुसार, श्री महाकालेश्वर मंदिर में श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए पार्किंग, पानी, शौचालय, और सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ किया गया था। इसके अलावा, सभी प्रमुख मंदिरों में स्वच्छता और सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की गई थी।
इसके अलावा, मंदिरों के आस-पास और मुख्य रास्तों पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए ट्रैफिक व्यवस्थाएं की गईं। विशेष रूप से श्री ओंकारेश्वर मंदिर और महाकालेश्वर मंदिर में मंदिर प्रशासन और जिला प्रशासन द्वारा धार्मिक स्थलों के आसपास ट्रैफिक व्यवस्था को सुलभ बनाने के लिए प्रयास किए गए।
श्रद्धालुओं का जोश और उत्साह
नववर्ष के पहले दिन का महत्व धार्मिक दृष्टि से अत्यधिक होता है। इस दिन श्रद्धालु विशेष रूप से मंदिरों में पहुंचकर नए साल की शुरुआत भगवान के आशीर्वाद से करना चाहते हैं। इस दिन श्रद्धालुओं ने ना केवल पूजा-अर्चना की, बल्कि कई लोग विशेष स्नान के लिए भी पहुंचे।
महाकालेश्वर और ओंकारेश्वर जैसे प्रमुख मंदिरों में इस दिन श्रद्धालुओं का उत्साह देखते ही बनता था। श्रद्धालु हर स्थान पर नारे लगाते हुए, मंत्रोच्चारण करते हुए मंदिरों में प्रवेश कर रहे थे, और उनकी आस्था का यह दृश्य अत्यंत भावुक करने वाला था।
धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा
नववर्ष पर बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं का मंदिरों में पहुंचना मध्यप्रदेश में धार्मिक पर्यटन को भी बढ़ावा दे रहा है। प्रमुख तीर्थस्थलों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ यह दर्शाती है कि राज्य में धार्मिक पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। मंदिरों में इस तरह की भीड़ और श्रद्धा से राज्य के धार्मिक पर्यटन उद्योग को एक नई दिशा मिल सकती है।
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