Mauni Amavasya 2025: स्नान और दान से शनि, राहु-केतु दोष से मुक्ति का अवसर
माघ मास की अमावस्या को Mauni Amavasya कहा जाता है। यह दिन विशेष रूप से धार्मिक महत्व रखता है, क्योंकि इस दिन को मौन रहकर स्नान और दान करने का अत्यधिक लाभकारी माना जाता है। इस दिन को लेकर विभिन्न धार्मिक मान्यताएँ प्रचलित हैं, जिनके अनुसार इस दिन किया गया स्नान और दान व्यक्ति के जीवन में मानसिक शांति, स्वास्थ्य और आध्यात्मिक उन्नति ला सकता है। खासतौर पर इस दिन शनि, राहु-केतु के दोषों से मुक्ति पाने का विशेष महत्व है। आइए जानते हैं कि Mauni Amavasya 2025 पर क्या शुभ संयोग बन रहे हैं और इस दिन किस तरह के उपाय किए जा सकते हैं।
Mauni Amavasya का महत्व
Mauni Amavasya का धार्मिक और ज्योतिषीय दृष्टिकोण से विशेष महत्व है। इसे “मौन व्रत” के रूप में मनाने का प्रचलन है, जिसमें लोग मौन रहकर आत्मा की शुद्धि और मानसिक शांति के लिए ध्यान और साधना करते हैं। धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस दिन विशेष रूप से स्नान करने, दान करने और पूजन विधियों का पालन करने से व्यक्ति के सभी कष्ट दूर होते हैं और उसे पुण्य की प्राप्ति होती है। इसके अलावा, मानसिक विकार, भय और भ्रम से मुक्त होकर व्यक्ति आत्मिक शांति और शुद्धि प्राप्त करता है।
Mauni Amavasya 2025 का शुभ मुहूर्त
इस वर्ष 29 जनवरी 2025 को Mauni Amavasya मनाई जाएगी। इस दिन कई शुभ मुहूर्त बन रहे हैं, जो इस दिन को विशेष रूप से फलदायी बनाते हैं। Mauni Amavasya पर स्नान और दान का महत्व कई गुना बढ़ जाता है, और इसे ब्रह्म मुहूर्त, विजय मुहूर्त, और अमृत काल के दौरान करना अत्यधिक शुभ माना जाता है।
- ब्रह्म मुहूर्त: 05:25 AM से 06:19 AM तक
- विजय मुहूर्त: 02:22 PM से 03:05 PM तक
- अमृत काल: 09:19 PM से 10:51 PM तक
इन मुहूर्तों में स्नान और दान करना विशेष फलदायी होता है। यदि कोई व्यक्ति ब्रह्म मुहूर्त में स्नान और दान नहीं कर पाता है, तो वह सूर्योदय से सूर्यास्त तक किसी भी समय इन कार्यों को कर सकता है।
शनि, राहु-केतु दोष से मुक्ति
Mauni Amavasya का दिन विशेष रूप से शनि, राहु और केतु के दोषों से मुक्ति पाने के लिए उपयुक्त माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इन ग्रहों के दुष्प्रभाव से व्यक्ति के जीवन में कई समस्याएँ उत्पन्न हो सकती हैं। ऐसे में इस दिन कुछ विशेष उपाय किए जा सकते हैं:
- शनि दोष से मुक्ति: शनि के प्रभाव से मुक्ति पाने के लिए इस दिन शनिदेव के मंदिर में तेल का दीपक लगाना और शनि मंत्र का जाप करना लाभकारी होता है।
- राहु-केतु दोष से मुक्ति: राहु और केतु के दोषों से मुक्ति के लिए इस दिन सोने या कांसे की छड़ी में तिल, गेहूं और ताम्बा चढ़ाकर दान करें। इसके अलावा, राहु और केतु के मंत्र का जाप भी किया जा सकता है।
- विशेष दान: इस दिन पीपल के वृक्ष की पूजा करके वहां जल चढ़ाना और पीपल के नीचे दीपक लगाना शुभ होता है। इसके अलावा, इस दिन तिल, तेल, वस्त्र और चावल का दान भी विशेष रूप से फलदायी होता है।
ज्योतिषीय दृष्टिकोण: शुभ संयोग और सिद्धि योग
Mauni Amavasya 2025 के दौरान ज्योतिषीय दृष्टिकोण से विशेष शुभ संयोग बन रहे हैं। इस दिन सूर्य और चंद्रमा दोनों मकर राशि में स्थित होंगे, जो एक शक्तिशाली और शुभ योग का निर्माण कर रहा है। इसके अलावा, गुरु का पंचम भाव में होना इस दिन को अत्यंत शुभ और सकारात्मक स्थिति में रखता है।
इस दिन सिद्धि योग भी बन रहा है, जो विशेष रूप से शुभ कार्यों के लिए आदर्श समय माना जाता है। सिद्धि योग में किए गए उपायों से व्यक्ति को विशेष लाभ मिल सकता है। यह योग धार्मिक क्रियाओं के साथ-साथ व्यक्तिगत और व्यवसायिक जीवन में सफलता दिलाने में भी मदद करता है।
महाकुंभ और शाही स्नान का आयोजन
Mauni Amavasya के दिन महाकुंभ मेला भी आयोजित हो रहा है, जिसमें लाखों श्रद्धालु संगम में शाही स्नान करते हैं। इस दिन का आयोजन विशेष रूप से पुण्य कमाने और मोक्ष की प्राप्ति के लिए किया जाता है। महाकुंभ में होने वाला शाही स्नान Mauni Amavasya को और भी महत्वपूर्ण बना देता है। यह एक ऐसा अवसर है जब श्रद्धालु अपने पापों से मुक्ति पाने और जीवन में सुख-शांति की कामना करते हैं।
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