Bihar में औरंगजेब पर घमासान: जेडीयू MLC का समर्थन, BJP भड़की!

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Bihar में औरंगजेब को लेकर सियासी घमासान: जेडीयू एमएलसी खालिद अनवर का बयान, बीजेपी भड़की

Bihar में इस साल होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले सियासी पारा गर्मा गया है। इस बार मुद्दा है मुग़ल शासक औरंगजेब, जिनके बारे में Bihar की सत्ताधारी पार्टी जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) के एमएलसी खालिद अनवर का विवादास्पद बयान।

उन्होंने औरंगजेब को जालिम बादशाह न मानते हुए महाराष्ट्र के समाजवादी पार्टी (सपा) के विधायक अबु आजमी की टिप्पणी का समर्थन किया, जिसके बाद Bihar में एनडीए (नेशनल डेमोक्रेटिक अलायंस) में घमासान मच गया है। भाजपा इस बयान को लेकर भड़क गई है, और भाजपा विधायक ने खालिद अनवर की विधान परिषद से सदस्यता खत्म करने की मांग की है।

खालिद अनवर का बयान और औरंगजेब पर उनकी राय

जेडीयू एमएलसी खालिद अनवर ने हाल ही में कहा कि औरंगजेब को जालिम बादशाह के रूप में नहीं देखा जाना चाहिए। उनका मानना था कि औरंगजेब के बारे में समाज में चल रही नकारात्मक धारणाओं को दूर किया जाना चाहिए। खालिद अनवर ने महाराष्ट्र के समाजवादी पार्टी के विधायक अबु आजमी के बयान का भी समर्थन किया, जिसमें आजमी ने कहा था कि औरंगजेब ने भारतीय उपमहाद्वीप में सांस्कृतिक और धार्मिक विविधता का सम्मान किया।

यह बयान राज्य में सियासी विवादों का कारण बन गया। खासकर बीजेपी ने इसे मुद्दा बना लिया, और पार्टी के नेता खालिद अनवर पर जमकर हमले करने लगे। बीजेपी का आरोप है कि खालिद अनवर ने इतिहास को तोड़-मरोड़कर पेश किया है, और ऐसे बयान Bihar के सांप्रदायिक सौहार्द को बिगाड़ सकते हैं।

बीजेपी का विरोध और खालिद अनवर की सदस्यता पर सवाल

बीजेपी ने खालिद अनवर के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। पार्टी के विधायक हरिभूषण बचौल ठाकुर ने खालिद अनवर की विधान परिषद सदस्यता खत्म करने की मांग की है। उनका कहना है कि खालिद अनवर का यह बयान पूरी तरह से गलत है, और इससे Bihar में धार्मिक भावनाओं को आहत करने की संभावना है। बीजेपी का आरोप है कि जेडीयू नेता जानबूझकर ऐतिहासिक तथ्यों को तोड़-मरोड़कर प्रस्तुत कर रहे हैं ताकि समाज में असहमति और तनाव पैदा किया जा सके।

इसके अलावा, बीजेपी नेताओं ने यह भी कहा कि इस तरह के बयान Bihar की सामाजिक और सांप्रदायिक स्थिति को प्रभावित कर सकते हैं। Bihar में विभिन्न धर्मों के लोग एक साथ रहते हैं, और ऐसे बयान केवल तकरार को बढ़ा सकते हैं। बीजेपी ने यह भी कहा कि अगर खालिद अनवर पर कोई कार्रवाई नहीं की जाती है, तो यह Bihar के लोगों के लिए गलत संदेश जाएगा।

सामाजिक और सांप्रदायिक संदर्भ में बयान

खालिद अनवर के बयान ने एक बार फिर Bihar में धर्म और इतिहास के बारे में चर्चा शुरू कर दी है। Bihar में इस तरह के बयान किसी खास समुदाय के लिए बहुत संवेदनशील हो सकते हैं। औरंगजेब का नाम भारतीय इतिहास में अक्सर विवादों में रहा है। कई लोग उसे धार्मिक अत्याचारों और जालिम शासक के रूप में देखते हैं, जबकि कुछ उसे अपनी नीतियों के हिसाब से नकारात्मक रूप में पेश करते हैं। ऐसे में खालिद अनवर का यह बयान Bihar के राजनीतिक परिदृश्य में नया मोड़ ला सकता है।

कुछ विश्लेषकों का मानना है कि खालिद अनवर ने यह बयान जानबूझकर दिया है ताकि अपने पार्टी के भीतर एक खास धारा को खुश किया जा सके। वहीं, कई राजनीतिक टिप्पणीकारों का मानना है कि यह बयान आगामी विधानसभा चुनाव के मद्देनजर समाज के कुछ वर्गों को अपने पक्ष में लाने की कोशिश हो सकती है।

अबु आजमी और औरंगजेब के बारे में उनकी राय

अबु आजमी का औरंगजेब के बारे में बयान भी इस पूरे विवाद का मुख्य कारण बना। आजमी ने कहा था कि औरंगजेब एक धार्मिक व्यक्ति था, जिसने भारतीय संस्कृति और सभ्यता को संरक्षित किया। यह बयान समाज में एक खास समुदाय की भावनाओं को आहत करने वाला साबित हुआ, और अब खालिद अनवर ने भी इसे समर्थन देकर अपनी राजनीतिक स्थिति को मजबूत करने की कोशिश की। लेकिन बीजेपी इस बयान को देश के इतिहास को गलत तरीके से प्रस्तुत करने का प्रयास मान रही है।

चुनाव के समय ऐसे बयान और उनका प्रभाव

Bihar विधानसभा चुनाव के पहले इस तरह के बयान से राजनीतिक माहौल और गर्मा सकता है। चुनावी माहौल में धर्म, इतिहास और सांप्रदायिक मसले अक्सर महत्वपूर्ण मुद्दे बन जाते हैं, और नेता इन्हें अपने राजनीतिक लाभ के लिए इस्तेमाल करते हैं। इस स्थिति में यह देखना दिलचस्प होगा कि खालिद अनवर के बयान के बाद राज्य की राजनीतिक पार्टियां और जनता इस मुद्दे पर किस तरह प्रतिक्रिया देती है।

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